बांकुडा-दिन के उजाले में ही सरकारी जमीन से अवैध रूप से पेड़ काटने का आरोप सामने आया है। लेकिन स्थानीय ग्रामीणों की तत्परता से आखिरकार यह गैरकानूनी पेड़ कटाई रुक गई।
घटना बाँकुड़ा ज़िले के रायपुर के ढेखो क्षेत्र की है, जहाँ बक्शी हाई स्कूल के मैदान के पास सरकारी ज़मीन पर बिना अनुमति के पेड़ काटे जा रहे थे।
सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुँची, लेकिन पुलिस के पहुँचने की खबर मिलते ही आरोपी मौके से फरार हो गए।
ग्रामीणों का कहना है कि हाल के दिनों में इस इलाके में दिनदहाड़े सरकारी संपत्ति की लूट और ज़बरदस्ती बिक्री के कई मामले सामने आए हैं। इस बार आरोप है कि पंचायत द्वारा लगाए गए पेड़ों को ही काटकर बेचने की कोशिश की जा रही थी।
हाल ही में इसी इलाके में दिनदहाड़े तालाब भरने की शिकायत भी सामने आई थी, जिसे स्थानीय प्रशासन के हस्तक्षेप से रोका गया था। अब फिर से असामाजिक तत्वों के एक गिरोह पर सरकारी भूमि पर लगाए पेड़ बेचने की साजिश रचने का आरोप लगा है, जिसे लेकर पचामी गाँव के लोग आक्रोशित।
घटना के दिन दोपहर में पचामी गाँव के कुछ युवकों ने देखा कि कुछ लोग जंगल के सोनाझुरी पेड़ काट रहे हैं। उन्होंने तुरंत गाँव में जाकर यह बात सबको बताई और रायपुर थाने व ब्लॉक विकास अधिकारी को सूचना दी।
बक्शी आउटपोस्ट पुलिस तुरंत मौके पर पहुँची, लेकिन पुलिस आते ही आरोपी अपने उपकरण लेकर भाग निकले।
ग्रामीणों ने बताया कि 2016 में मनरेगा (100 दिन के काम) के तहत इन पेड़ों को लगाया गया था, जिसका रिकॉर्ड पंचायत कार्यालय में मौजूद है। अब ग्रामीण सवाल उठा रहे हैं कि आधिकारिक रिकॉर्ड मौजूद रहने के बावजूद पेड़ों को कैसे काटा जा रहा था।
रायपुर ब्लॉक के समष्टि विकास अधिकारी उदय नारायण दे ने बताया,
“मुझे ग्रामीणों से शिकायत मिली है, मैंने तुरंत ही अवैध पेड़ कटाई रोकने के निर्देश दिए हैं।”









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